सरकार ने अपने कर्मचारियों के लिए 7वें वेतन आयोग की सिफारिशों के अनुसार संशोधित मकान किराया भत्ता (एचआरए) 1 अगस्त से लागू करने के आदेश दिया है। हरियाणा राज्य के वित्त मंत्री कैप्टन अभिमन्यु ने सीएम मनोहर लाल खट्टर की घोषणा की अनुपालना के तहत यह आदेश जारी किया है। अब कर्मचारियों को शहरों की आबादी के अनुसार बेसिक सैलरी का 8, 16 और 24 प्रतिशत किराया भत्ता दिया जाएगा।
वित्त मंत्री ने बताया कि साल 2011 की जनगणना के अनुसार राज्य के अलग-अलग शहरों और कस्बों में तैनात राज्य सरकार के कर्मचारियों को संशोधित मकान किराया भत्ता दिया जाएगा। इस बदलाव के बाद कर्मचारियों और अधिकारियों को 1190 रुपये से लेकर 6 हजार रुपये तक का फायदा होगा। सरकार ने आबादी के हिसाब से एचआरए की न्यूनतम राशि भी तय की है। एचआरए में संशोधन होने के बाद प्रदेश सरकार के करीब तीन लाख कर्मचारी व अधिकारियों को फायदा होगा।
नए बदलाव के तहत 50 लाख या इससे ज्यादा आबादी वाले शहरों को एक्स श्रेणी में रखा गया है। ऐसे शहरों में काम करने वाले कर्मचारियों को 24 प्रतिशत या न्यूनतम 5400 रुपये एचआरए दिया जाएगा।इसी तरह 5 लाख या इससे अधिक या 50 लाख से कम आबादी वाले शहरों को वाई श्रेणी में रखा जाएगा।ऐसे शहरों में तैनात कर्मचारियों को 16 प्रतिशत या न्यूनतम 3600 रुपये मकान किराया भत्ता दिया जाएगा। तीसरी और अंतिम श्रेणी जेड है, इसके अंतर्गत 5 लाख या इससे कम आबादी वाले शहरों को कवर किया जाएगा। इन शहरों में पोस्टेड राज्य सरकार के कर्मचारियों को 8 प्रतिशत या न्यूनतम 1800 रुपये एचआरए दिया जाएगा। ट्राइसिटी चंडीगढ़, पंचकूला और मोहाली को एक यूनिट माना गया है और इन्हें वाई श्रेणी में रखा गया है। मकान किराया भत्ते में बदलाव से राज्य सरकार का हर साल 1920 करोड़ रुपये का खर्च बढ़ जाएगा।