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VVPAT Machine क्या होती है और कैसे करती है काम, कब तक दिखती है वोट की पर्ची?

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VVPAT Machine क्या होती है और कैसे करती है काम, कब तक दिखती है वोट की पर्ची?

लोकसभा चुनाव 2024 के पहले चरण के लिए मतदान हो चुके हैं, अब इसी हफ्ते 26 अप्रैल को दूसरे चरण के लिए मतदान होने हैं. चुनाव से पहले और चुनाव के दौरान हमेशा से ही विपक्षी दल के लोग EVM और VVPAT Machine को लेकर सवाल करते आए हैं.

बहुत से सवाल अब भी ऐसे हैं जिनके बारे में लोगों को जानकारी तक नहीं है.

आज खुद से ही पूछकर देखिए क्या आपको पता है कि आखिर VVPAT मशीन क्या है और ये मशीन आखिर किस तरह से काम करती है या फिर वोट डालने के बाद आखिर कब तक VVPAT Slip नजर आती है? अगर आप इन सभी जरूरी सवालों के जवाब नहीं जानते हैं तो हमारे साथ बने रहिए, आज हम आपको इन सभी सवालों के बारे में विस्तार से जानकारी देंगे.

What is VVPAT: समझें क्या है वीवीपैट मशीन?

ये मशीन क्या है, इसे जानने से पहले आपको ये पता होना चाहिए कि आखिर इसका मतलब क्या है? वीवीपैट का मतलब है Voter Verifiable Paper Audit Trail. जब EVM और VVPAT जैसी मशीन नहीं थी और बैलेट पेपर के जरिए ही चुनाव होते थे.

लेकिन फिर समय बदला और बैलेट पेपर की जगह EVM मशीन ने ले ली. इस मशीन के आने के बाद से अबतक विपक्ष इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन पर सवाल खड़े करता रहता है.

जब EVM पर सवाल खड़े होने लगे तब चुनाव आयोग इस समस्या का हल निकालते हुए VVPAT को लेकर आया. वोटर वेरिफिएबल पेपर ऑडिट ट्रेल उर्फ VVPAT मशीन को EVM मशीन के साथ कनेक्ट किया जाता है.

VVPAT Works: कैसे काम करती है ये मशीन?

EVM और VVPAT दोनों ही मशीन कंट्रोल यूनिट के साथ जुड़ी होती हैं. जैसे ही आप ईवीएम मशीन में बटन दबाते हैं, एक बीप की आवाज आती है और साथ में लगी वीवीपैट मशीन में आपने जिस उम्मीदवार को वोट दिया है उसकी एक पर्ची प्रिंट होकर दिखने लगती है.

आप इस पर्ची को घर लेकर नहीं जा सकते लेकिन आपको ये पर्ची मशीन में कुछ सेकंड तक जरूर नजर आती है जिससे कि आप इस बात को चेक कर सकते हैं कि आपका वोट वाकई उसी को गया है या नहीं जिसे आपने वोट दिया है या नहीं. इसके बाद ये पर्ची मशीन में मौजूद एक सील पैक्ड बॉक्स में गिरती है.

VVPAT Slip: कितनी देर तक दिखती है स्लिप?

जब भी कोई व्यक्ति मतदान उर्फ वोट डालता है तो मशीन में स्लिप जेनरेट होती है. इस स्लिप को देखने से वोट देने वाले को एक तसल्ली हो जाती है कि उन्होंने जिस उम्मीदवार को वोट दिया है वोट उसी को गया है. इस स्लिप में उम्मीदवार का नाम होता है जिसे आपने वोट दिया है और चुनाव चिन्ह छपा होता है.

रिपोर्ट्स के मुताबिक, VVPAT मशीन में लगे ग्लास विंडो में ये स्लिप लगभग 7 सेकंड तक नजर आती है. इसके बाद यह स्लिप मशीन के नीचे लगे कंपार्टमेंट में गिरती है.

पहली बार कब हुआ VVPAT का इस्तेमाल?

EVM के साथ हमेशा से VVPAT का इस्तेमाल नहीं होता था, ईवीएम पर जब सवाल उठने लगे तो वीवीपैट मशीन को लाया गया. क्या आप इस सवाल के जवाब से वाकिफ हैं कि आखिर पहली बार कब चुनाव आयोग ने VVPAT का इस्तेमाल किया था?

हो सकता है कि इस सवाल का जवाब आधे से ज्यादा जनता जानती हो, लेकिन फिर भी बहुत से लोग ऐसे होंगे जिन्हें अब भी इस सवाल का जवाब नहीं पता. याद दिला दें कि 2013 में हुए नागालैंड विधानसभा चुनाव के दौरान चुनाव आयोग ने पहली बार वीवीपैट मशीन को बतौर ट्रायल के रूप में इस्तेमाल किया था.