ब्रिटेन के प्रिंस चार्ल्स ने कहा कि सौर ऊर्जा की दिशा में भारत की कोशिशें पूरी दुनिया के लिए एक उदाहरण है । साथ ही शून्य कॉर्बन उत्सर्जन वाले भविष्य की तरफ कदम तेज करने के लिहाज से प्रकृति आधारित एवं प्रौद्योगिकी से प्रेरित समाधानों के लिए वैश्विक तलाश में भारत को एक महत्वपूर्ण भूमिका निभानी है।
ब्रिटेन की राजगद्दी के 72 वर्षीय उत्तराधिकारी और पर्यावरण कार्यकर्ता चार्ल्स ने ‘इंडिया ग्लोबल फोरम सेशन ऑन क्लाइमेट एक्शन’ में अपने विशेष संबोधन के दौरान भारतीय उद्यमियों और मुख्य कार्यकारी अधिकारियों से सस्टेनेबल मार्केट्स इंडिया काउंसिल में शामिल होने की अपील की।
सस्टेनेबल मार्केट्स इंडिया काउंसिल जलवायु संबंधी लक्ष्यों की दिशा में गति को बढ़ाने के लिए सतत निवेश की मांग करने के उद्देश्य से गठित किया गया है। चार्ल्स ने कहा, ‘भारत की वैश्विक पहुंच और मजबूत निजी क्षेत्र के साथ, मुझे लगता है कि कुछ महत्वपूर्ण रास्ते हैं जहां हम अपनी कोशिशों को तेज करने और एक ज्यादा सतत भविष्य के निर्माण की खातिर मिलकर काम कर सकते हैं। सबसे पहले हमें इस बदलाव में मदद करने के लिए निजी पूंजी के प्रवाह को तेज करने पर ध्यान देने की जरूरत है।
उन्होंने कहा, ‘मुझे पता है कि भारत में नवीकरणीय ऊर्जा, खासकर सौर ऊर्जा तेजी से आधार बना रहा है और यह बाकी दुनिया के लिए एक शानदार उदाहरण है।’ इंडिया इंक ग्रुप ने दो दिन (30 जून-एक जुलाई) के इस सम्मेलन का आयोजन किया है। इंडिया इंक ग्रुप लंदन की एक मीडिया कंपनी है।