भारत ने 2023 में पूर्वी लद्दाख में चीन के साथ सीमा पर जारी गतिरोध के साथ-साथ दुनिया भर में संकट और संघर्ष के बीच सैन्य ताकत को बढ़ाने और किसी भी सुरक्षा चुनौती का दृढ़ता से मुकाबला करने के लिए देश की समग्र युद्ध क्षमता में वृद्धि के वास्ते करीब 3.50 लाख करोड़ रुपये की रक्षा खरीद की.
भारत ने क्षेत्रीय प्रभुत्व बनने और दक्षिण एशिया में अपनी प्रधानता स्थापित करने की चीन की लगातार कोशिशों के मद्देनजर अपने पड़ोस और उससे आगे समान विचारधारा वाले देशों के साथ अपनी सैन्य भागीदारी का भी तेजी से विस्तार करने की कोशिश की.
चीन से लगती लगभग 3,500 किलोमीटर लंबी वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) की रक्षा करने वाली भारतीय सेना ने पूर्वी लद्दाख की सीमा पर जारी तनाव चौथे साल में प्रवेश करने के बावजूद अपना आक्रमक रुख बनाए हुए है जबकि दोनों पक्षों ने इस गतिरोध को हल करने के लिए कई दौर की उच्च स्तरीय सैन्य और राजनयिक वार्ता की है.